आज का जो समय चल रहा है इस मे प्रदूषण बढ़ गया है। हवा मे प्रदूषण pollution हो गया है। खाने की सब चीजों मे खतरनाक दवाईयां मिली होती है। ऐसे मे हम अपने शरीर body को कैसे स्वास्थ्य रखें? यह एक बड़ा सवाल है। आदमी जीवन भर पैसे कमाता है। लेकिन यह पैसा भी व्यर्थ है अगर हमारी सेहत इस पैसे का सही इस्तेमाल करने के लिए ठीक नही। अक्सर देखा गया है मध्यमवर्गीय middle class और गरीब परिवार मे अगर कोई सदस्य किसी गंभीर बिमारी हो जाती है तो सारी जमा पूंजी उसके इलाज मे खर्च हो जाती है। ऐसे मे हमे चाहिए कि हम अपनी सेहत के प्रति ध्यान रखें और ऐसी बिमारियो diseases से बचें। इस आर्टिकल मे मैं आप से अपनी सेहत को ठीक रखने के टिप्स शेयर करोगा।
• Be conscious of your food | अपने खाने के प्रति सचेत रहे।
एक अच्छी सेहत good health के लिए जो सबसे पहला आधार है वो आपका खाना ही है। अगर आप अच्छा और साफ सुथरा खाना खा good meal रहे हो तो आपकी सेहत भी ठीक रहेगी। ताजा खाना खाएं। यह पचता जलदी है और सभी पोषक तत्व आपके सभी अंगो तक पहुंच जाते है। बासी या खराब खाना पचता नही, नतीजे मे आपको पेट दर्द, गैस जैसी बिमारी लग जाती है। तब आपको तरह तरह की दवाईयां medicines खाने के आदि हो जाती है। जिनके गैस बनती है उन्हे तो रोजाना चूर्ण और दवाईयां खाते देखा गया है। यह सब कई बार शरीर मे कोई और बिमारी को जन्म दे देते है।
• How and when to eat? खाना कैसा और कब खाएं?
अच्छे खाने के साथ साथ खाने का समय भी बहुत महत्व रखता है। दिन मे तीन से चार बार खाएं लेकिन थोड़ा-थोड़ा खाए, जिससे आपकी भूख भी शांत रहेगी और आपको जरूरी ऊर्जा energy भी मिलती रहेगी। अधिक घी वाला या तला हुआ खाना ना खाएं। डाक्टरों की भी यही सलाह है कि अधिक घी oily वाला खाना दिल के लिए हानिकारक होता है। सुबह नाश्ता breakfast अच्छे से करे। नाश्ते मे फल, अंडे, हरी सब्जी का प्रयोग ज्यादा करें। दोपहर का खाना भी अच्छे से करें। रात को बहुत कम खाएं, क्योंकि रात मे अगर अधिक खाना खाओगे तो वह आसानी से पचता digest नही।
फास्ट फूड fast food का सेवन ना करे। आज कल तो वैसे भी देखा गया है कि बच्चे फास्ट फूड के बहु शौकीन होते है। जिसका बुरा नतीजा बच्चो को बाद मे भुगतना पड़ता है। बच्चो को दस्त, पेट दर्द, खांसी जैसी बिमारियां ज्यादातर फास्ट फूड से ही लगती है। खाने मे तो हमेशा घर पर बना हुआ खाना ही खाएं। हरी सब्जी, दालें, दलिया, चावल आदि आप प्रतिदिन बदल बदल कर खा सकते है। मिर्च और मसाले का भी ध्यान रखें। जो भी खाना बना रहे हो उस मे मिर्च मसाला बहुत कम रखे। इनके अलावा प्रतिदिन फल fruits भी खाएं। जिनसे तरह तरह के विटामिन और पोषक तत्व मिलते है।
• Keep body clean | शरीर को साफ रखना
शारीरिक सफाई की बात करें तो सबसे पहले हमे अपने हाथो को साफ रखना चाहिए। जब कभी भी बाहर से आए तो अपने हाथ और चेहरे को साबुन soap से अच्छे से साफ करे। ऐसा करने से जो खतरनाक बैक्टीरिया बाहर से आपके हाथो पर लगे होते है वह मर जाते है। आज कल तो स्वाईन फ्लू जैसी भयानक बिमारिया भी फैली हुई है जो हवा मे सांस लेने या बिमार व्यक्ति से हाथ hand मिलाने तक से हो जाती है। ऐसे मे अपने हाथो को साफ रखना और भी जरूरी हो जाता है । इसके अलावा प्रतिदिन daily अच्छे से नहाना चाहिए, अपने सभी अंगो को अच्छे से साफ रखें। मौसम के अनुसार गर्म और ठंडे पानी से नहाए।
• Taking care of body weight | शारीरिक भार का ध्यान रखना
शारीरिक भार बहुत अधिक नही होना चाहिए, अच्छे स्वास्थ्य मे शारीरिक भार एक अहम रोल अदा करता है। अगर शारीर का भार अधिक होगा तो यह बिमारियो को आमंत्रित करता है। ज्यादा भार होने से आपके जोड़ो मे दर्द हो सकता है। इसके अलावा दिल की बिमारी, सांस फूलना आदि जैसी बिमारियां हो सकती है। अधिक भार से आपका शारीरिक ढांचा तो खराब होता ही है दूसरो को दिखने मे भी अच्छा नही लगता। मोटापे fat से कई भार इंसान डिप्रेशन मे चला जाता है। डिप्रेशन मे आकर इंसान और अधिक खाने लग जाता है। मोटापे को दूर करने का एक ही सही तरीका है । कम खाना और नियमित व्यायाम करना यही इसका सही ईलाज है ।
• Regular exercise and walk | नियमित व्यायाम और सैर करना।
नियमित व्यायाम और सैर करना भी बहुत ज्यादा जरूरी है। खासकर उन लोगो के लिए जो दिन भर एक ही जगह पर बैठे काम करते रहते है। ऐसे मे उनके शरीर मे खून का संचालन सारे अंगो तक सही से नही हो पाता। ऐसे लोगो को कमर दर्द, पैरो मे सूजन और आंखो मे जलन रहती है। अगर वह दिन मे कम से कम 2000 कदम चलेंगे तो उनके खून का संचालन सही से हो पाएगा। तेज सैर करने या दौड लगाने से दिल की धड़कन तेज चलने लगती है और खून का प्रवाह तेज हो जाता है।
अक्सर हम देखते है कि कई लोगो को दौरा पड जाता है। जिस से उनके शामिल का आधा हिस्सा या फिर कोई अंग काम करना बंद कर देता है। यह तभी होता है जब उस अंग तक खून नही पहुंचता। ऐसे मे डाक्टर उस व्यक्ति को कई तरह के व्यायाम करने की सलाह देता है। एक स्वस्थ व्यक्ति को भी दिन मे कम से कम 15 मिनट तक व्यायाम करना चाहिए।
ज्यादातर लोग आलस की वजह से या उन्हे किसी खुली जगह मे सबके सामने व्यायाम करने मे शर्म आती है, इसलिए वह ये सब नही कर पाते। अगर अपने आप को ठीक और स्वास्थ्य रखना है तो शर्म छोड़कर सैर और व्यायाम करना चाहिए। व्यायाम के लिए किसी खुली जगह पर जाएं जिससे आपको ताजी हवा भी मिलती रहे।
• Keep cleaning inside and outside the house | घर के अंदर एवं बाहर सफाई रखना।
घर के अंदर बाथरूम, रसोई, परदे, दीवारो के कोने अच्छे से साफ रखे। फर्श को फ्लोर क्लीनर से साफ रखें। घर के अंदर अधिक दिनों तक कूड़ा जमा कर के ना रखें। घर के छिपे हुए कोनो को अच्छी तरह से साफ रखे क्योंकि यह वह जगह होती है यहा पर मच्छर और कीट पैदा होते है। रसोई घर मे बासी खाना ना रखें। इस से बदबू तो पैदा होती ही है साथ रखा खाना खराब होने का डर रहता है। घर के फर्श को अच्छी तरह से साफ रखें। क्योंकि जिनके घर मे छोटे बच्चे होते है वह नीचे बैठकर खेलते है। ऐसे मे बच्चे फर्श पर गिरी हुई खाने की चीजें उठाकर खा लेते है ।
• Regular medical check up | नियमित डाक्टरी जांच करवाना।
स्वास्थ्य ठीक रखने का एक और टिप्स नियमित डाक्टरी जांच करवाना है। एक उम्र के बाद हर इंसान को अपनी नियमित डाक्टरी जांच करवानी चाहिए। अगर आपको कोई बिमारी होगी तो वह समय रहते पकड़ी जाएगी और समय रहते उसका इलाज संभव हो सकेगा। कई बार ऐसा होता है हमें बिमारी का पता नही चलता और इलाज शुरू करने मे बहुत देरी हो जाती है ऐसे मे मरीज के जान जाने का खतरा अधिक हो जाता है। अगर डाक्टरी जांच के दौरान आपकी कोई बिमारी पकड़ी जाए, तो डाक्टर की सलाह से जल्द से जल्द दवाई शुरू कर दें।
• Be anxious and practice yoga | चिंता मुक्त रहे और योग अभ्यास करे
शारीर मे बिमारी बढ़ने का एक मुख्य कारण चिंता भी है। अगर कोई व्यक्ति किसी काम, मनुष्य को लेकर चिंतित है, तो वह निश्चय ही किसी ना किसी बिमारी का शिकार हो जाता है। चिंतित व्यक्ति कभी भी सही निर्णय नही ले पाता। एक कहावत भी बहुत मशहूर है कि चिंता चिता सामान होती है। चिंता से मुक्त रहिए। बेवजह किसी बात की चिंता मत कीजिए। चिंता से मुक्त रहने के लिए योगासन करे। यह आपका मानसिक संतुलन बनाए रखने मे सहायता करता है। लगातार 15 20 मिनट तक ध्यान लगाने से मानसिक शांति मिलती है।
• Drink clean or more water | साफ और अधिक पानी पिए
सेहत को ठीक रखने के लिए साफ पानी भी उतना ही महत्व रखता है जितना साफ भोजन होता है। अगर साफ पानी नही पिएंगे तो इस से पेट से सम्बंधित बिमारियां होने का खतरा बना रहता है। पानी को पीने से पहले अच्छी तरह उबाल लें और पानी को कुछ देर तक ठंडा होने दें। पानी को अच्छी तरह उबालने से इस मे मौजूद बैक्टीरिया समाप्त हो जाते है। पानी अधिक से अधिक पीना चाहिए। अधिक पानी पीने से पसीना ज्यादा आता है जिससे शरीर के अंदर के हानिकारक बैक्टीरिया पसीने के साथ बाहर आ जाते है।
यह है सेहत को ठीक रखने के कुछ मुख्य उपाय। जिन्हे अपना कर आप एक स्वास्थ्य और लम्बा जीवन जी सकते है ।
• Be conscious of your food | अपने खाने के प्रति सचेत रहे।
एक अच्छी सेहत good health के लिए जो सबसे पहला आधार है वो आपका खाना ही है। अगर आप अच्छा और साफ सुथरा खाना खा good meal रहे हो तो आपकी सेहत भी ठीक रहेगी। ताजा खाना खाएं। यह पचता जलदी है और सभी पोषक तत्व आपके सभी अंगो तक पहुंच जाते है। बासी या खराब खाना पचता नही, नतीजे मे आपको पेट दर्द, गैस जैसी बिमारी लग जाती है। तब आपको तरह तरह की दवाईयां medicines खाने के आदि हो जाती है। जिनके गैस बनती है उन्हे तो रोजाना चूर्ण और दवाईयां खाते देखा गया है। यह सब कई बार शरीर मे कोई और बिमारी को जन्म दे देते है।
• How and when to eat? खाना कैसा और कब खाएं?
अच्छे खाने के साथ साथ खाने का समय भी बहुत महत्व रखता है। दिन मे तीन से चार बार खाएं लेकिन थोड़ा-थोड़ा खाए, जिससे आपकी भूख भी शांत रहेगी और आपको जरूरी ऊर्जा energy भी मिलती रहेगी। अधिक घी वाला या तला हुआ खाना ना खाएं। डाक्टरों की भी यही सलाह है कि अधिक घी oily वाला खाना दिल के लिए हानिकारक होता है। सुबह नाश्ता breakfast अच्छे से करे। नाश्ते मे फल, अंडे, हरी सब्जी का प्रयोग ज्यादा करें। दोपहर का खाना भी अच्छे से करें। रात को बहुत कम खाएं, क्योंकि रात मे अगर अधिक खाना खाओगे तो वह आसानी से पचता digest नही।
फास्ट फूड fast food का सेवन ना करे। आज कल तो वैसे भी देखा गया है कि बच्चे फास्ट फूड के बहु शौकीन होते है। जिसका बुरा नतीजा बच्चो को बाद मे भुगतना पड़ता है। बच्चो को दस्त, पेट दर्द, खांसी जैसी बिमारियां ज्यादातर फास्ट फूड से ही लगती है। खाने मे तो हमेशा घर पर बना हुआ खाना ही खाएं। हरी सब्जी, दालें, दलिया, चावल आदि आप प्रतिदिन बदल बदल कर खा सकते है। मिर्च और मसाले का भी ध्यान रखें। जो भी खाना बना रहे हो उस मे मिर्च मसाला बहुत कम रखे। इनके अलावा प्रतिदिन फल fruits भी खाएं। जिनसे तरह तरह के विटामिन और पोषक तत्व मिलते है।
• Keep body clean | शरीर को साफ रखना
शारीरिक सफाई की बात करें तो सबसे पहले हमे अपने हाथो को साफ रखना चाहिए। जब कभी भी बाहर से आए तो अपने हाथ और चेहरे को साबुन soap से अच्छे से साफ करे। ऐसा करने से जो खतरनाक बैक्टीरिया बाहर से आपके हाथो पर लगे होते है वह मर जाते है। आज कल तो स्वाईन फ्लू जैसी भयानक बिमारिया भी फैली हुई है जो हवा मे सांस लेने या बिमार व्यक्ति से हाथ hand मिलाने तक से हो जाती है। ऐसे मे अपने हाथो को साफ रखना और भी जरूरी हो जाता है । इसके अलावा प्रतिदिन daily अच्छे से नहाना चाहिए, अपने सभी अंगो को अच्छे से साफ रखें। मौसम के अनुसार गर्म और ठंडे पानी से नहाए।
• Taking care of body weight | शारीरिक भार का ध्यान रखना
शारीरिक भार बहुत अधिक नही होना चाहिए, अच्छे स्वास्थ्य मे शारीरिक भार एक अहम रोल अदा करता है। अगर शारीर का भार अधिक होगा तो यह बिमारियो को आमंत्रित करता है। ज्यादा भार होने से आपके जोड़ो मे दर्द हो सकता है। इसके अलावा दिल की बिमारी, सांस फूलना आदि जैसी बिमारियां हो सकती है। अधिक भार से आपका शारीरिक ढांचा तो खराब होता ही है दूसरो को दिखने मे भी अच्छा नही लगता। मोटापे fat से कई भार इंसान डिप्रेशन मे चला जाता है। डिप्रेशन मे आकर इंसान और अधिक खाने लग जाता है। मोटापे को दूर करने का एक ही सही तरीका है । कम खाना और नियमित व्यायाम करना यही इसका सही ईलाज है ।
• Regular exercise and walk | नियमित व्यायाम और सैर करना।
नियमित व्यायाम और सैर करना भी बहुत ज्यादा जरूरी है। खासकर उन लोगो के लिए जो दिन भर एक ही जगह पर बैठे काम करते रहते है। ऐसे मे उनके शरीर मे खून का संचालन सारे अंगो तक सही से नही हो पाता। ऐसे लोगो को कमर दर्द, पैरो मे सूजन और आंखो मे जलन रहती है। अगर वह दिन मे कम से कम 2000 कदम चलेंगे तो उनके खून का संचालन सही से हो पाएगा। तेज सैर करने या दौड लगाने से दिल की धड़कन तेज चलने लगती है और खून का प्रवाह तेज हो जाता है।
अक्सर हम देखते है कि कई लोगो को दौरा पड जाता है। जिस से उनके शामिल का आधा हिस्सा या फिर कोई अंग काम करना बंद कर देता है। यह तभी होता है जब उस अंग तक खून नही पहुंचता। ऐसे मे डाक्टर उस व्यक्ति को कई तरह के व्यायाम करने की सलाह देता है। एक स्वस्थ व्यक्ति को भी दिन मे कम से कम 15 मिनट तक व्यायाम करना चाहिए।
ज्यादातर लोग आलस की वजह से या उन्हे किसी खुली जगह मे सबके सामने व्यायाम करने मे शर्म आती है, इसलिए वह ये सब नही कर पाते। अगर अपने आप को ठीक और स्वास्थ्य रखना है तो शर्म छोड़कर सैर और व्यायाम करना चाहिए। व्यायाम के लिए किसी खुली जगह पर जाएं जिससे आपको ताजी हवा भी मिलती रहे।
• Keep cleaning inside and outside the house | घर के अंदर एवं बाहर सफाई रखना।
घर के अंदर बाथरूम, रसोई, परदे, दीवारो के कोने अच्छे से साफ रखे। फर्श को फ्लोर क्लीनर से साफ रखें। घर के अंदर अधिक दिनों तक कूड़ा जमा कर के ना रखें। घर के छिपे हुए कोनो को अच्छी तरह से साफ रखे क्योंकि यह वह जगह होती है यहा पर मच्छर और कीट पैदा होते है। रसोई घर मे बासी खाना ना रखें। इस से बदबू तो पैदा होती ही है साथ रखा खाना खराब होने का डर रहता है। घर के फर्श को अच्छी तरह से साफ रखें। क्योंकि जिनके घर मे छोटे बच्चे होते है वह नीचे बैठकर खेलते है। ऐसे मे बच्चे फर्श पर गिरी हुई खाने की चीजें उठाकर खा लेते है ।
• Regular medical check up | नियमित डाक्टरी जांच करवाना।
स्वास्थ्य ठीक रखने का एक और टिप्स नियमित डाक्टरी जांच करवाना है। एक उम्र के बाद हर इंसान को अपनी नियमित डाक्टरी जांच करवानी चाहिए। अगर आपको कोई बिमारी होगी तो वह समय रहते पकड़ी जाएगी और समय रहते उसका इलाज संभव हो सकेगा। कई बार ऐसा होता है हमें बिमारी का पता नही चलता और इलाज शुरू करने मे बहुत देरी हो जाती है ऐसे मे मरीज के जान जाने का खतरा अधिक हो जाता है। अगर डाक्टरी जांच के दौरान आपकी कोई बिमारी पकड़ी जाए, तो डाक्टर की सलाह से जल्द से जल्द दवाई शुरू कर दें।
• Be anxious and practice yoga | चिंता मुक्त रहे और योग अभ्यास करे
शारीर मे बिमारी बढ़ने का एक मुख्य कारण चिंता भी है। अगर कोई व्यक्ति किसी काम, मनुष्य को लेकर चिंतित है, तो वह निश्चय ही किसी ना किसी बिमारी का शिकार हो जाता है। चिंतित व्यक्ति कभी भी सही निर्णय नही ले पाता। एक कहावत भी बहुत मशहूर है कि चिंता चिता सामान होती है। चिंता से मुक्त रहिए। बेवजह किसी बात की चिंता मत कीजिए। चिंता से मुक्त रहने के लिए योगासन करे। यह आपका मानसिक संतुलन बनाए रखने मे सहायता करता है। लगातार 15 20 मिनट तक ध्यान लगाने से मानसिक शांति मिलती है।
• Drink clean or more water | साफ और अधिक पानी पिए
सेहत को ठीक रखने के लिए साफ पानी भी उतना ही महत्व रखता है जितना साफ भोजन होता है। अगर साफ पानी नही पिएंगे तो इस से पेट से सम्बंधित बिमारियां होने का खतरा बना रहता है। पानी को पीने से पहले अच्छी तरह उबाल लें और पानी को कुछ देर तक ठंडा होने दें। पानी को अच्छी तरह उबालने से इस मे मौजूद बैक्टीरिया समाप्त हो जाते है। पानी अधिक से अधिक पीना चाहिए। अधिक पानी पीने से पसीना ज्यादा आता है जिससे शरीर के अंदर के हानिकारक बैक्टीरिया पसीने के साथ बाहर आ जाते है।
यह है सेहत को ठीक रखने के कुछ मुख्य उपाय। जिन्हे अपना कर आप एक स्वास्थ्य और लम्बा जीवन जी सकते है ।